दबंगई का कहर: प्रधान प्रतिनिधि ने गरीब महिला का घर बुलडोजर से गिराया

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दबंगई का कहर: प्रधान प्रतिनिधि ने गरीब महिला का घर बुलडोजर से गिराया
 प्रशासन की निष्क्रियता और राजनेताओं का हस्तक्षेप बना न्याय में बाधा।
 पुरवा,उन्नाव ।पुरवा तहसील क्षेत्र के थाना असोहा के अंतर्गत बेहटा कंचनपुर गांव में दबंगई की एक ह्रदयविदारक घटना सामने आई है। 9 दिसंबर की शाम करीब 7 बजे प्रधान प्रतिनिधि संजय कुशवाहा ने बुलडोजर (जेसीबी संख्या यू.पी 35 बी टी 9626) के जरिए गरीब महिला रिंकी देवी का घर जबरन गिरा दिया। जब रिंकी देवी ने इस अन्याय का विरोध किया, तो संजय कुशवाहा ने उसे दौड़ा-दौड़ाकर पीटा। पीड़िता रिंकी देवी ने इस घटना की शिकायत उप जिलाधिकारी उदित नारायण सेंगर और क्षेत्राधिकारी अजय कुमार सिंह को लिखित रूप में दी। उन्होंने तत्काल कार्यवाही की मांग की, लेकिन अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है। घटना के बाद से ही पीड़िता डरी-सहमी है और अपने बच्चों के साथ बेघर होकर दर-बदर भटक रही है। 11 दिन बीत जाने के बावजूद उसे न्याय नहीं मिला है। संजय कुशवाहा, जो लखनऊ में सचिवालय में नौकरी करते हैं, अपने रसूख का दिखावा करते हुए कहते हैं कि उन पर कोई कार्यवाही नहीं कर सकता। उच्च अधिकारियों को शिकायत देने के बाद भी कोई परिणाम नहीं निकला, जिससे स्पष्ट होता है कि प्रशासन दबंग प्रधान प्रतिनिधि के आगे नतमस्तक है। सरकारी तंत्र की निष्क्रियता और दबंग प्रतिनिधि के खिलाफ कार्रवाई न करने का कारण राजनेताओं का हस्तक्षेप माना जा रहा है। इस घटना से योगी सरकार की कानून व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। पीड़िता और उसका परिवार अब भी बेघर होकर दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं। न्याय की गुहार लगाने के बावजूद, उत्तम प्रदेश में इस जंगल राज में पीड़ितों को न्याय नहीं मिल पा रहा है। यह घटना योगी सरकार के लिए एक कड़ी चुनौती पेश करती है, जो अपनी शासन व्यवस्था और कानून के राज की बात करती है। अगर जल्द ही इस मामले में उचित कार्रवाई नहीं हुई, तो यह न केवल प्रशासन की विफलता को उजागर करेगा, बल्कि गरीब और बेसहारा लोगों के प्रति सरकार की संवेदनहीनता को भी प्रदर्शित करेगा।

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